Vivek Bindra

विवेक बिंद्रा का काम करने का अंदाज मुखलतीफ है उन्हें देखकर कभी नहीं लगता वे थोड़ा भी थके हुए या फिर किसी बात से परेशान है। वो हमेशा अपने सेमिनार में नए तरीके नयी नयी तकनीक बताते है। हारा हुआ इंसान भी उन से मिलकर नयी तकनीक ले कर वापस घर जाता है। इनका जन्म 05 अप्रैल 1978 को दिल्ली में हुआ। महज़ 2½ साल की उम्र में ही उनके ऊपर दुखों का पहाड़ टूट गया जब उनके पिता जी की मृत्यु हो गयी ,और कुछ समय के बाद उनकी माता का विवाह किसी अन्य व्यक्ति के साथ हो गया।बचपन से ही उनकी ज़िन्दगी संघर्ष शुरू हो गया ,अगर देखा जाए तो उनका जीवन आज कुछ भी नहीं होता अगर वे अपने जीवन में आई परेशानियों से हार मान जाते।ऐसे में किसी के लिए अच्छी शिक्षा लेना भी बड़ी परेशानी की बात हो जाती है। विवेक ने अपनी शुरूआती पढ़ाई तो एक साधारण से स्कूल से की लेकिन बाद में उन्होंने दिल्ली के st . XAVIER College से BBA किया। और MBA की पढ़ाई लोन लेकर नोएडा से AMITY BUSINESS College से पूरी की ।जब भी उनसे उनकी ज़िन्दगी के बारे में पूछा गया तो उन्होंने यही बताया की उनका जीवन शुरू में बहुत संघर्षपूर्ण रहा है।विवेक बिंद्रा जी ने 06 दिसम्बर 2013 को एक यूट्यूब चैनल की शुरुआत की। उस यूट्यूब का नाम Dr. Vivek bindra : motivational speaker रखा। अब उनकी वीडियो इतनी कमाल की थी कि 2017 में विवेक जी ने 15 लाख से ज्यादा सब्सक्राइबर को हासिल कर लिया आज भी उनके सब्सक्राइबर उनके फैन फॉलोअर्स की गिनती बढ़ती जा रही है। उनके लगभग करोड़ों में YouTube Subscriber है।उनकी इनकम का एक स्रोत नहीं है उन्हें कई जगह से इनकम होती है। यूट्यूब, सेमिनार और कई कंपनी से उन्हें इनकम होती है।और उनको आज पूरा भारत जानता है।दिन प्रतिदिन उनके सेमीनार अलग अलग राज्यों में होते रहते है उनसे मिलने के लिए पहले से ही बुकिंग करवानी पड़ती है। उनकी ढेर सारी वीडियो में उन्होंने बाउंस बैक (Bounce Back) शब्द का प्रयोग किया है। ये शब्द हमें बहुत मोटीवेट करता है।विवेक बिंद्रा की सभी विडियोस पर लाखों में व्यूज के साथ उनकी विडियो अपलोड होती ही लाख व्यूज कुछ घंटों में ही देखने को मिलते है।विवेक बिंद्रा का जीवन बड़ा ही संघर्षपूर्ण रहा है उनका जीवन प्रेरणादायक है। बिना माता पिता के जीवन जीना तो बहुत मुश्किल होता है।विवेक बिंद्रा आज के समय में व्यापारियों, entrepreneurs के लिए एक अजूबे के रूप में है। आज उदास बैठा व्यापारी भी उनसे मिलने के बाद नयी उम्मीद की किरण से भर जाता है।कोई भी हारा हुआ व्यक्ति उनसे मिल कर खिलखिला उठता है। जिस तरह का कठिन जीवन उन्होंने जी कर एक मिसाल कायम की है।