Satya Nadella

हम बात कर रहे हैं सत्य नडेला की जो कंप्यूटर की दुनिया पर राज करते हैं। यह दुनिया के गिने-चुने सफल लोगों की गिनती में आते हैं माइक्रोसॉफ्ट आज के टाइम में दुनिया की सबसे सफल कंपनियों में से एक है और इसी वजह के चलते सत्य नडेला कई सफल व्यक्तियों की गिनती में चुना जाता है सत्य नडेला का जन्म 19अगस्त 1967 को हैदराबाद में हुआ इनके पिता का नाम बुकपुर्म नडेला था और वह एक आईएएस ऑफिसर थे सत्य नडेला बचपन से ही पढ़ाई में काफी आगे थे उन्होंने अपनी शुरुआती पढ़ाई हैदराबाद से कि उसके बाद वह मणिपाल यूनिवर्सिटी से उन्होंने ग्रेजुएशन की और आगे की पढ़ाई के लिए वह अमेरिका चले गए वहां के विस्कॉन्सिन यूनिवर्सिटी में कंप्यूटर साइंस में एमएससी में एडमिशन लिया साल 1990 में उन्होंने यह डिग्री हासिल की और उसके बाद शिकागो यूनिवर्सिटी से उन्होंने एमबीेेेए की पढ़ाई पूरी की। नडेला को बचपन से ही चीजें बनाने का शौक था और जैसे-जैसे वह बड़े हुए उनको यह पता चला कि उनका फ्यूचर कंप्यूटर साइंस में ही था पर मणिपाल इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में वो फैसिलिटी अवेलेबल नहीं थी इसलिए उससे मिलते जुलते सब्जेक्ट उन्होंने चुने जिससे उनके फेवरेट सब्जेक्ट को समझने और जानने में मदद की। अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद सत्य नडेला ने सन माइक्रोसिस्टम में कंपनी के टेक्नोलॉजी टीम में काम किया उस समय सन माइक्रोसिस्टम में काम करने के बाद उन्होंने साल 1992 में माइक्रोसॉफ्ट ज्वाइन कर लिया और तब से वह उसी के साथ है। कंपनी के साथ इतने लंबे वक्त तक जुड़े रहने के दौरान उन्होंने कई प्रोजेक्ट में काम किया माइक्रोसॉफ्ट में उनकी शुरुआत सरवर ग्रुप से हुई इसके बाद वह सॉफ्टवेयर डिवीजन, ऑनलाइन सर्विसेज, रिसर्च एंड डेवलपमेंट, एडवरटाइजिंग प्लेटफार्म में काम भी किया और फिर हेड बनकर सर्वर डिवीजन में वापस गए। उन्होंने माइक्रोसॉफ्ट में क्लाउड कंप्यूटिंग को लीड किया और कंपनी को दुनिया के सबसे बड़े क्लाउड इन्फ्राट्रक्चर में से एक बनाने में अहम भूमिका निभाई। उन्होंने ऑनलाइन सर्विसेज डिवीजन में बतौर सीनियर वाइस प्रेसिडेंट और माइक्रोसॉफ्ट बिजनेस डिवीजन में बतौर वाइस प्रेसिडेंट भी काम किया बाद में उन्होंने 19 अरब अमेरिकी डॉलर सर्विस एंड टूल बिजनेस का डायरेक्टर भी बनाया गया। पुराने कंपनी के इस डिवीजन का नक्शा ही बदल दिया माइक्रोसॉफ्ट के डेटाबेस, विंडोज सर्वर और डेवलपर टूल्स को माइक्रोसॉफ्ट अज्योर क्लाउड प्लेटफार्म पर लाने में उन्होंने बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाई उनकी लीडरशिप में इस डिवीजन को मुनाफा हुआ साल 2011 में 16.6 अरब अमेरिकी डॉलर से बढ़कर साल 2013 में लगभग 20.3 अरब अमेरिकी डॉलर हो गया। 4 फरवरी 2014 में उन्हें माइक्रोसॉफ्ट के पूर्व स्टीव बामर की जगह ली सीईओ बनने के बाद कुछ ही महीनों के अंदर सत्य ने कंपनी मे टॉप लेवल से नीचे के लेवल तक सारे सिस्टम को चेंज किया जिसे कंपनी के अंदर इंफॉर्मेशन जल्दी से जल्दी हर एक के पास पहुंच सके आज सत्य नडेला की वजह से माइक्रोसॉफ्ट अपनी इमेज बनाने में कामयाब रही है जिसकी वजह से माइक्रोसॉफ्ट स्टॉक मार्केट में भी काफी प्रॉफिट देखने को मिला।सत्य नडेला ने सन 1992 में अनुपमा से विवाह किया। अनुपमा सत्य के पिता के मित्र की पुत्री हैं। नडेला दंपत्ति के तीन संतान हैंएक बेटा और दो बेटियां। सत्य अपने परिवार के साथ वाशिंगटन में रहते हैं।नडेला को कविता का बहुत शौक है और वे अमरीकी और भारतीय के उत्सुक पाठक हैं। उन्हें क्रिकेट का भी बहुत शौक है। वे अपने स्कूल क्रिकेट टीम का सदस्य भी थे। उन्होंने इस बात का भी जिक्र किया है कि क्रिकेट के खेल से उन्होंने टीम लीड और आपसी सहयोग की भावना को सीखा है।